बलरामपुर में मकर संक्रांति के अवसर पर आयोजित तीन दिवसीय तातापानी महोत्सव के दूसरे दिन आदिवासी संस्कृति की भव्य झलक देखने को मिली। कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण ट्राइबल फैशन वॉक रहा, जिसमें स्थानीय छात्र-छात्राओं ने आदिवासी परिधानों और आभूषणों में रैंप वॉक कर दर्शकों का मन मोह लिया। महोत्सव में छत्तीसगढ़ की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को प्रदर्शित किया गया। विद्यार्थियों ने पारंपरिक आदिवासी वेशभूषा में न केवल रैंप वॉक किया, बल्कि सुआ, कर्मा, गेड़ी जैसे लोक नृत्यों की भी शानदार प्रस्तुतियां दीं। जिले के विभिन्न स्थानों से आए कलाकारों ने भी अपनी प्रस्तुतियों से कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई। गायक मिथुन शर्मा के गानों पर झूमे दर्शक कार्यक्रम की विशेष आकर्षण बॉलीवुड के प्रसिद्ध संगीतकार और गायक मिथुन शर्मा का प्रदर्शन रहा। उन्होंने अपनी टीम के साथ बॉलीवुड के सुपरहिट गीतों की प्रस्तुति दी, जिस पर दर्शक झूमते नजर आए। समारोह में बड़ी संख्या में लोगों की उपस्थिति ने इस आयोजन की सफलता को प्रमाणित किया। यह महोत्सव न केवल स्थानीय कला और संस्कृति को बढ़ावा देने का मंच बना, बल्कि आदिवासी परंपराओं को युवा पीढ़ी तक पहुंचाने का सशक्त माध्यम भी साबित हुआ। तपेश्वर धाम और मेले का आकर्षण मकर संक्रांति के अवसर पर आयोजित इस महोत्सव का उद्घाटन छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने किया। तातापानी अपने प्राकृतिक गर्म जल स्रोत और भगवान शंकर की 80 फीट ऊंची भव्य प्रतिमा के लिए प्रसिद्ध है, जिसे तपेश्वर धाम के नाम से जाना जाता है। महोत्सव के दौरान यहां एक बड़े मेले का आयोजन किया जाता है, जिसमें छत्तीसगढ़ ही नहीं, बल्कि अन्य राज्यों से भी लाखों की भीड़ उमड़ती है। तीन दिवसीय सांस्कृतिक उत्सव का आकर्षण महोत्सव में हर शाम छत्तीसगढ़ी, भोजपुरी और बॉलीवुड कलाकारों द्वारा सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दी जाती हैं। इन कार्यक्रमों में छत्तीसगढ़ के आदिवासी समुदाय की संस्कृति को समर्पित विशेष प्रस्तुतियां भी शामिल होती हैं। संस्कृति और पर्यटन को बढ़ावा तातापानी महोत्सव न केवल क्षेत्र की सांस्कृतिक धरोहर को सहेजने का एक प्रयास है, बल्कि पर्यटन को भी बढ़ावा देता है। छत्तीसगढ़ के आदिवासी रीति-रिवाजों और परंपराओं को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने की दिशा में यह महोत्सव महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।