गुजरात विधानसभा की 182 सीटों पर अगले महीने दो चरणों (1 दिसंबर और 5 दिसंबर) में चुनाव होने हैं। कांग्रेस ढाई दशक से राज्य की सत्ता से बेदखल है। लिहाजा, सत्ता में वापसी के लिए लगातार हाथ-पैर मार रही है।
हिमाचल प्रदेश में विधान सभा चुनाव संपन्न होने के बाद कांग्रेस ने अपना पूरा जोर मिशन गुजरात पर फोकस कर दिया है। इसके तहत पार्टी आगामी 15 दिनों में कुल 25 मेगा रैली करेगी जो 125 विधानसभा क्षेत्रों को कवर करेगा। कांग्रेस की ये रैलियां आक्रामक चुनावी रणनीति के तहत होंगी, जिसमें पार्टी के तमाम बड़े नेता शिरकत करेंगे।
कांग्रेस नेता के मुताबिक कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी और राहुल गांधी भी गुजरात चुनाव में प्रचार करने आएंगे। राहुल गांधी इन दिनों भारत जोड़ो यात्रा पर महाराष्ट्र में हैं। वह हिमाचल प्रदेश चुनावों में प्रचार करने नहीं पहुंचे थे लेकिन गुजरात में उनके आने की चर्चा है।
पार्टी सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, दोनों मुख्यमंत्री – अशोक गहलोत और भूपेश बघेल; कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी के अलावा पार्टी के पूर्व मुख्यमंत्रियों और ओबीसी-एससी-एसटी-अल्पसंख्यक वर्ग के बड़े नेता भी आगामी दिनों में गुजरात में रैलियां और चुनाव प्रचार करेंगे। पार्टी सूत्रों ने बताया कि इस बार भी कांग्रेस ने आक्रामक चुनाव प्रचार की रणनीति बनाई है।
बता दें कि 2017 के विधानसभा चुनावों में भी राहुल गांधी ने राज्य में आक्रामक चुनाव अभियान का नेतृत्व किया था। इस कारण कांग्रेस ने पिछले तीन दशकों में बीजेपी को डबल डिजिट (99 सीट) पर लाकर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया था।
इस बार, कांग्रेस ने बूथ प्रबंधन पर अधिक भरोसा करते हुए गुजरात विधानसभा चुनावों में अपनी रणनीति बदली है। राहुल गांधी ने फरवरी 2022 में द्वारका में राज्य स्तरीय चिंतन शिविर में पार्टी के चुनाव अभियान की शुरुआत की थी; जिसके बाद, पार्टी ने गुजरात विधानसभा चुनावों के लिए एक “मौन अभियान” योजना लागू की। इसके अलावा, कांग्रेस ने इस बार बड़े पैमाने पर घर-घर अभियान पर ध्यान केंद्रित करने का विकल्प चुना है।
बता दें कि गुजरात विधानसभा चुनाव दो चरणों (1 दिसंबर और 5 दिसंबर) में होंगे। चुनाव के नतीजे 8 दिसंबर को घोषित किए जाएंगे। भाजपा और कांग्रेस के साथ आम आदमी पार्टी की एंट्री से गुजरात में इस बार चुनावी मुकाबला त्रिकोणीय हो गया है।