घोर नक्सल प्रभावित एवं घने जंगलों के बीच बसे नारायणपुर जिले में कुपोषण से लड़ाई को लेकर यहां की आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका कितना जज्बा और संकल्प रखते हैं यह आज राष्ट्रीय पोषण माह के अंतर्गत हुई पोषण रैली में दिखायी दिया। पोषण रैली को लेकर अबूझमाड़ में बड़ा उत्साह देखने को मिला। रैली में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं एवं सहायिकाओं ने सब्जियो से लदे पोषण रथ से जन-जन तक पोषण के महत्व को समझाया। अबूझमाड़ से जोश से भरी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के उत्साह की गूंज पूरे छत्तीसगढ़ में गूंज रही है।
कलेक्टर श्री धर्मेश कुमार साहू ने कहा कि मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान का क्रियान्वयन हमारे लिए सबसे बड़ी प्राथमिकता है। जनप्रतिनिधियों के सहयोग से और महिला एवं बाल विकास विभाग के मैदानी अमले के सहयोग से इस क्षेत्र में बड़ी सफलता हासिल की गई है। यह कार्य बेहद संवेदनशील था, और मुझे खुशी है कि हमारी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं ने कोरोना के कठिन दौर में लॉकडाउन के बावजूद अपनी सेवाएं जारी रखीं। बच्चों तक रेडी टू ईट फूड पहुँचाया। कुपोषित बच्चों की मानिटरिंग करती रहीं। आज इस पोषण रैली में आपके साथ भागीदारी करने में बहुत खुशी हो रही है।
जिले में वर्श 2019 में आयोजित वजन त्यौहार में कुल 4 हजार 165 कुपोषित बच्चे थे। बीते माह जुलाई 2021 में जिले में कुपोषित बच्चों की संख्या 2 हजार 415 है। मुख्यंमंत्री सुपोषण अभियान कार्यक्रम के तहत् 1 हजार 750 बच्चे कुपोषण से बाहर आये है। कोविड़-19 महमारी के दौरान जब आंगनबाड़ी केन्द्र बन्द हो गये तब लॉकडाउन अवधि में भी 20 हजार 179 चिन्हाकित हितग्राहियों को आंगनबाड़़ी कार्यकर्ताओं के माध्यम से घरों में पहुचाकर सूखा राशन का वितरण किया गया।