छत्तीसगढ़ में जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए एक भी पद OBC को नहीं मिला है। इस पर कांग्रेस के विरोध और बवाल को लेकर नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने कहा कि अभी कम बवाल मचा है और अधिक बवाल मचना चाहिए। वहीं पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने कहा था कि भाजपा का OBC विरोधी चेहरा सामने आया है। डॉ. चरणदास महंत ने कहा कि सरकार को विधेयक लाने के बजाए सुप्रीम कोर्ट जाना चाहिए और आरक्षण के बंधन को मुक्त करने के लिए निवेदन करना चाहिए। क्योंकि, हर कोई जानता है कि छत्तीसगढ़ में 50% से ज्यादा अन्य पिछड़ा वर्ग की जनसंख्या है। पहले अपने गिरेबां में झांके कांग्रेस- बीजेपी इसके जवाब में बेलतरा से बीजेपी विधायक सुशांत शुक्ला ने कहा कि जिनका प्रशिक्षण ही तुष्टिकरण की राजनीति की व्यवस्था देती हो ऐसे कांग्रेसियों को अपने गिरेबां में झांकना चाहिए। अगर शांत छत्तीसगढ़ को अशांत करने का प्रयास किया जाएगा तो ईंट का जवाब पत्थर से दिया जाएगा। ये भी समझ लें। उनके पूर्ववर्ती सदस्य कुनाल शुक्ला और रात्रे जी ने सुप्रीम कोर्ट तक हाई आरक्षण को लेकर केस लड़ा। जो आरक्षण के खिलाफ खुद षडयंत्र रचते रहे हो, उन्हें अपने गिरेबां में झांकना चाहिए। मेरे ख्याल से और ज्यादा बवाल मचना चाहिए- महंत रविवार की रात बिलासपुर पहुंचे नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरण महंत ने OBC आरक्षण को लेकर चल रहे बवाल पर कहा कि मेरे ख्याल से और ज्यादा बवाल मचना चाहिए। क्योंकि, जहां प्रदेश में 7 जिला पंचायत अध्यक्ष थे, उसमें इस बार OBC के लिए एक भी नहीं है। वहीं, पिछली बार 16 जनपद पंचायत अध्यक्ष थे। लेकिन, इस बार केवल पांच बजे हैं। बस्तर और सरगुजा जैसे आदिवासी जिलों में OBC के एक भी पंच नहीं होगा। जबकि, हर कोई जानता है कि यहां 50 फीसदी से ज्यादा हमारे OBC के के लोग हैं। इसे लेकर OBC में आक्रोश स्वाभाविक है, इसे ठीक करने के लिए सरकार को विधेयक लाने की जरूरत नहीं थी। महाराष्ट्र जैसे कई ऐसे प्रदेश हैं, जहां OBC को आरक्षण देने के नाम पर चुनाव नहीं हो रहे हैं। यहां भी इंतजार करना चाहिए, सरकार को सुप्रीम कोर्ट जाना चाहिए और निवेदन करना चाहिए कि 50% आरक्षण का बंधन है उसे मुक्त किया जाए। नेता प्रतिपक्ष बोले- रणनीति और खुफिया तंत्र पर निगरानी जरूरी नेता प्रतिपक्ष डॉ. महंत ने नक्सली हमले में जवानों की शहादत पर कहा कि ये बहुत दुखद बात है कि केंद्रीय गृह मंत्री की निगरानी में जहां नक्सली को खत्म करने की बात की जा रही है। वहां आए दिन नक्सलियों द्वारा हमारे जवानों को खत्म किया जा रहा है। इसमें जल्दबाजी हो रही है। मैं बार-बार कहता हूं, किसी राजनीतिक दृष्टि से बात नहीं करता कि हमें अपनी रणनीति और खुफिया तंत्र पर निगरानी रखनी पड़ेगी। अन्यथा इसी तरीके से हमारे जवानों के साथ दुर्घटनाएं होंगी और हत्याएं होंगी, जो गृहमंत्री चाह रहे हैं कि इतनी जल्दी खत्म कर दो, किसी को बचाव नहीं। एक क्रमबद्ध तरीके से निधि निर्धारण के साथ नक्सली हिंसा खत्म करने की बात होनी चाहिए, जो नहीं हो रही है। यह दुखद है। भाजपा के बयान पर किया पलटवार डॉ. महंत ने भाजपा नेताओं के उस बयान पर पलवाटवार किया है, जिसमें उन्होंने कहा कि कांग्रेस को मेयर के लिए प्रत्याशी नहीं मिल रहे हैं। डॉ. महंत ने कहा कि परिणाम आने के बाद ही पता चलेगा किसके पास उम्मीदवार हैं और किसके पास नहीं है। मुझे लगता है कि वो लोग (भाजपा नेता) सपने देख रहे हैं। डॉ. महंत ने कहा- हम भी संगठन में बदलाव का इंतजार कर रहे कांग्रेस संगठन में बदलाव को लेकर उन्होंने कहा कि परिवर्तन की चर्चा है। मीडिया की तरह हम भी संगठन में बदलाव को लेकर इंतजार कर रहे हैं। लेकिन, यह निर्णय केंद्रीय नेतृत्व का है। ………………………………………………… OBC आरक्षण पर विवाद को लेकर ये खबर भी पढ़ें जिला पंचायत अध्यक्ष का एक भी पद OBC नहीं: पिछले चुनाव में 7 सीटें रिजर्व थी, बघेल बोले- आखिर वही हुआ जिसकी आशंका थी छत्तीसगढ़ में 50 फीसदी OBC आरक्षण के बावजूद जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए एक भी पद OBC को नहीं मिला। प्रदेश में नगरीय निकायों के बाद त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव के लिए आरक्षण तय किए गए हैं।रायपुर जिला पंचायत अध्यक्ष का पद इस बार अनारक्षित हो गया है। वहीं, धमतरी, महासमुंद, कबीरधाम, मुंगेली, में सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिला पंचायत अध्यक्ष पदों का आरक्षण भी अनारक्षित हुआ है। पढ़ें पूरी खबर