गोबर से निर्मित प्राकृतिक पेंट में आठ लाभदायी गुण पाए जाते हैं: मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम
स्कूल शिक्षा मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम ने सूरजपुर जिले के ग्राम पंचायत केशवनगर के महात्मागांधी ग्रामीण औद्योगिक पार्क रीपा परिसर में गाय के गोबर से प्राकृतिक पेंट निर्माण इकाई का शुभारंभ किया। उन्होंने इस अवसर पर कहा कि गोबर से निर्मित प्राकृतिक पेंट में 8 लाभदायी गुण पाए जाते हैं। गोबर से निर्मित पेंट एंटी बैकटीरियल, एंटी फंगल, पर्यावरण अनुकूल, प्राकृतिक ऊष्मा रोधक, किफायती, भारी धातु मुक्त, अविषाक्त एवं गंध रहित होता हैं। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा इन गुणों को देखते हुये समस्त शासकीय भवनों की रंगाई के लिए गोबर से निर्मित प्राकृतिक पेंट के उपयोग के निर्देश दिये गए हैं। मंत्री डॉ. टेकाम ने कहा कि गोबर से प्राकृतिक पेंट निर्माण इकाई में गाय के गोबर से इमल्सन, डिस्टेम्पर एवं पुट्टी निर्माण का कार्य प्रारम्भ किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि सूरजपुर जिले में केशवनगर के साथ ही कुदरगढ़ में भी गाय के गोबर से प्राकृतिक पेंट निर्माण इकाई स्थापना प्रस्तावित है।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ शासन की महत्वाकांक्षी सुराजी ग्राम योजना अंतर्गत एनजीजीबी कार्यक्रम के तहत निर्मित गोठान के तीन चरण हैं। प्रथम चरण में गोठान को पशु संरक्षण केंद्र के रूप में विकसित किया गया है, द्वितीय चरण में वर्मी कम्पोस्ट और अन्य संबंधित उत्पादन केंद्र बनाया गया है एवं तृतीय चरण में गोठानों को महात्मा गांधी ग्रामीण औद्योगिक पार्क रीपा के रूप में विकसित किया जा रहा है। जिले में बारह रीपा का निर्माण किया जा रहा हैं। इसके लिए शासन से 24 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्राप्त हुई है। प्रत्येक विकासखण्ड में दो रीपा का निर्माण होगा। इसमें ग्रामीण बेरोजगारों, समूह सदस्यों को आजीविका के साधन उपलब्ध कराते हुए ज्यादा से ज्यादा लोगों स्व रोजगार से जोड़ने का कार्य किया जा रहा है।
जिले में रीपा अंतर्गत रेडी टू कुक मल्टी ग्रेन उत्पादन, सेवई एवं सूजी उत्पादन, आलू चिप्स निर्माण, मूंगफली प्रसंस्करण, सुगंधित चावल प्रसंस्करण, नारियल प्रसंस्करण, बेकरी इकाई, कोदो प्रसंस्करण, तेल एवं मल्टी ग्रेन आटा प्रसंस्करण, पोहा एवं मुरमुरा प्रसंस्करण, पशु आहार, पॉल्ट्री फीड एवं फिश फीड निर्माण, प्लास्टिक बोतल, पेट जार एवं अन्य प्लास्टिक उत्पादन इकाई, पेपर प्लेट,पेपर कप, पेपर बैग निर्माण इकाई, मिठाई डिब्बा निर्माण, चप्पल निर्माण इकाई, माहुल पत्ता से दोना पत्तल निर्माण, झाड़ू निर्माण, पूजा सामाग्री निर्माण एवं पैकिंग, अगरबत्ती निर्माण, प्लास्टिक,जुट बोरी निर्माण एवं प्रिंटिंग इकाई, साबुन, हर्बल फिनाइल, वाशिंग पाउडर निर्माण, त्योहार आधारित सामग्री (गुलाल, राखी, मोमबत्ती, दिया आदि निर्माण), गोबर पेंट निर्माण इकाई, प्रिंटिंग प्रेस एवं नोट बुक निर्माण, सुगंधित तेल प्रसंस्करण इकाई जैसी आजीविका गतिविधियां हेतु कार्ययोजना तैयार की गई है।