भारतीय जनता पार्टी ने मंगलवार को नगरीय निकाय चुनाव में आरक्षण पर मचे बवाल का जवाब दिया। पार्टी के प्रदेश कार्यालय में अध्यक्ष किरणदेव सिंह 3 OBC मंत्रियों के साथ पहुंचे छत्तीसगढ़ के डिप्टी सीएम अरुण साव कानून की किताबें साथ लेकर आए। साथ में मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े और टंकराम वर्मा थे। जिला पंचायत अध्यक्ष पदों पर चुनाव के आरक्षण के तहत एक भी सीट अन्य पिछड़ा वर्ग को नहीं मिली है। इसे कांग्रेस मुद्दा बना रही है। इस पर जवाब देते हुए छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि 33 में से छत्तीसगढ़ के 16 जिले अधिसूचित क्षेत्र में आते हैं। पंचायत राज अधिनियम के तहत यह सभी जगह अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं। आबादी के अनुरूप चार जगह अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित हुई। यह 16 सीट और चार सीट 50% आरक्षण की सीमा को पार करते हैं, इसलिए सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय को ध्यान में रखते हुए जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षण नहीं हुआ। अनारक्षित सीटों पर ओबीसी को मौका इस स्थिति में भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष किरणदेव ने मीडिया से कहा कि ऐसी सीट, जहां अनारक्षित स्थिति होती है। वहां से कोई भी चुनाव लड़ सकता है, तो हम अपने पार्टी की आंतरिक व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए अनारक्षित सीटों पर ओबीसी को प्राथमिकता देंगे। शासकीय नियमों के तहत जो अधिकतम हो सकता था वह किया गया है। कांग्रेस शून्य करना चाहती थी आरक्षण विधानसभा में आरक्षण की व्यवस्था को लेकर कांग्रेस द्वारा किए गए विरोध का जिक्र करते हुए प्रदेश के उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि जब हम आरक्षण को लेकर विधेयक सदन में ला रहे थे तब कांग्रेस इसे पास नहीं होने देना चाहती थी। इसका विरोध करते हुए कांग्रेस ने वॉकआउट किया था। कांग्रेस इस साजिश में थी कि छत्तीसगढ़ में ओबीसी आरक्षण शून्य हो जाए, क्योंकि उनके समर्थन वाली झारखंड सरकार में भी स्थिति ऐसी ही है। हमने आयोग बनाया। आयोग ने अनुशंसा करते हुए रिपोर्ट में कहा कि अधिकतम 50% तक ओबीसी वर्ग को आरक्षण दिया जा सकता है। जबकि पहले 25% तक की ही सीमा थी, हमने ओबीसी वर्ग के आरक्षण को बढ़ाया है। बाकी अन्य निकाय, नगर निगम, नगर पालिका सभी में ओबीसी वर्ग को नियमानुसार भागीदारी मिली है। साव ने कहा, प्रदेश को अशांत करने में लगी कांग्रेस एक दिन पहले सोमवार को प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष चरण दास महंत ने जिला पंचायत पदों पर ओबीसी वर्ग को आरक्षण न दिए जाने को लेकर कहा था कि अभी तो कम बवाल हो रहा है और बवाल होना चाहिए। इस बयान को लेकर उपमुख्यमंत्री ने कहा कि यह प्रदेश के माहौल को खराब करना चाहते हैं। कांग्रेस भ्रम, भ्रष्टाचार और भय के कॉन्सेप्ट में राजनीति करती है, मगर हम छत्तीसगढ़ को अशांत नहीं होने देंगे। हम उनकी साजिश को कामयाब नहीं होने देंगे। 50% OBC आरक्षण के दावे की हकीकत सामने आई – बघेल वहीं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इस मामले में कहा था कि OBC को जिला पंचायतों में जीरो आरक्षण मिला है। पिछली बार 27 जिलों में 7 जिलों में OBC सीटें आरक्षित थीं। अभी लॉटरी में OBC के लिए कोई स्थान नहीं है। बघेल ने कहा कि OBC वर्ग के साथ साय सरकार अन्याय कर रही है। आरक्षण का चयन दुर्भाग्यजनक स्थिति से प्रदेश में हुआ है। बीजेपी मुंह छुपाने के लिए आधी सीट OBC को देने की बात कह रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा का OBC विरोधी चेहरा सामने आया है।