बलूच विद्रोही लगातार सीपीईसी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं, जैसे गैस पाइपलाइन और बिजली टावरों को निशाना बनाते रहे हैं, क्योंकि वे चीनी अधिकारियों को साम्राज्यवादी शक्ति के रूप में मानते हैं।
चीन ने पाकिस्तान में उसके नागरिकों पर हो रहे हमलों पर कड़ा ऐतराज जताया है। बीजिंग ने पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा से बलूचिस्तान क्षेत्र में चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे परियोजनाओं पर काम कर रहे अपने नागरिकों पर हमले रोकने के लिए कहा है। मालूम हो कि पाकिस्तान में चीनी नागरिकों को लगातार निशाना बनाए जाने के बीच इस्लामाबाद पुलिस ने केंद्रीय पुलिस कार्यालय (सीपीओ) में कर्मचारियों और रसद के साथ विदेशी सुरक्षा सेल स्थापित करने का फैसला किया है।
बैठक में बलूच समूहों की ओर से चीनी नागरिकों पर हमलों पर भी चर्चा की गई। पाकिस्तान में भू-राजनीतिक मुद्दे सामने आए हैं, क्योंकि बलूच विद्रोह शांति और स्थिरता के लिए लगातार खतरा बना हुआ है। बलूच विद्रोही लगातार सीपीईसी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं, जैसे गैस पाइपलाइन और बिजली टावरों को निशाना बना रहे हैं, क्योंकि वे चीन को साम्राज्यवादी शक्ति के रूप में मानते हैं, जो पाकिस्तान सरकार के साथ-साथ बलूचिस्तान के प्राकृतिक संसाधनों को लूटना चाहता है।
चुनौतीपूर्ण समय में रणनीतिक साझेदारी पर सहमति
दरअसल, पाकिस्तान और चीन ने रविवार को चुनौतीपूर्ण समय में अपनी रणनीतिक साझेदारी की पुष्टि की और पारस्परिक हित के मुद्दों पर विचारों के नियमित आदान-प्रदान को जारी रखने पर सहमति जताई। सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने शीर्ष रक्षा अधिकारियों के साथ केंद्रीय सैन्य आयोग के उपाध्यक्ष जनरल झांग यूक्सिया के नेतृत्व वाले चीनी दल के साथ बातचीत की।
पाकिस्तान सेना के एक बयान के अनुसार, पाकिस्तान के त्रि-सेवा सैन्य प्रतिनिधिमंडल ने नौ से 12 जून तक चीन का दौरा किया था, जहां उसने चीनी सेना और अन्य सरकारी विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ चर्चा की। शीर्ष बैठक 12 जून को हुई थी जिसमें पाकिस्तानी पक्ष का नेतृत्व जनरल बाजवा ने किया था, जबकि चीनी पक्ष का नेतृत्व जनरल झांग ने किया था। दोनों पक्षों ने अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय सुरक्षा स्थिति पर अपने दृष्टिकोण पर चर्चा की और दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग पर संतोष व्यक्त किया गया।