34 वर्षीय श्रीकांत त्यागी को नौ अगस्त को नोएडा पुलिस द्वारा मेरठ से गिरफ्तार किए जाने के बाद यूपी गैंगस्टर्स और असामाजिक गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया था।

नोएडा के गालीबाज श्रीकांत त्यागी को अभी जेल में ही रहना होगा। उत्तर प्रदेश के गौतमबुद्ध नगर जिले की एक अदालत ने शुक्रवार को श्रीकांत की जमानत याचिका एक बार फिर खारिज कर दी है। 34 वर्षीय श्रीकांत त्यागी को नौ अगस्त को नोएडा पुलिस द्वारा मेरठ से गिरफ्तार किए जाने के बाद यूपी गैंगस्टर्स और असामाजिक गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया था।

जिला एवं सत्र न्यायालय में विशेष न्यायाधीश (गैंगस्टर एक्ट) रणविजय प्रताप सिंह ने जमानत याचिका खारिज कर दी है। श्रीकांत त्यागी के वकील सुशील भाटी ने भी पुष्टि की कि जमानत याचिका खारिज कर दी गई है।

गैंगस्टर एक्ट के अलावा, उस पर 5 अगस्त को महिला के साथ गाली-गलौज, मारपीट करने और उसकी कारों पर केवल राज्य विधानसभा सदस्यों को जारी किए गए स्टिकर और राज्य सरकार के प्रतीक का उपयोग करने के लिए धोखाधड़ी के मामले में भी मामला दर्ज किया गया था।

गौरतलब है कि, नोएडा में 5 अगस्त को ग्रैंड ओमैक्स सोसाइटी में एक महिला से अभद्रता करने के मामले में नोएडा पुलिस ने श्रीकांत त्यागी को 9 अगस्त को सुबह मेरठ से तीन अन्य साथियों के साथ गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद से वह जेल में बंद है।

बता दें कि, श्रीकांत त्यागी कथित तौर पर खुद को भाजपा नेता बताकर लोगों पर रौब झाड़ता था, लेकिन महिला के साथ बदसलूकी के मामले में श्रीकांत त्यागी का वीडियो वायरल होने के बाद भाजपा ने उससे पल्ला झाड़ लिया था। स्थानीय भाजपा सांसद डॉ. महेश शर्मा ने त्यागी के भाजपा सदस्य होने से इनकार किया था।

इस घटना के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए थे, जिनमें से एक में त्यागी महिला के खिलाफ कथित तौर पर गंदी-गंदी गालियां देने के साथ अपशब्दों का इस्तेमाल करते और हाथापाई करते दिख रहा था। त्यागी ने महिला के पति के लिए भी कथित तौर पर अभद्र भाषा का इस्तेमाल करते हुए अपमानजनक टिप्पणी की थी।

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