सचिन तेंदुलकर और विराट कोहली को दुनिया के महानतम खिलाड़ियों में यूंही शुमार नहीं किया जाता. बल्कि इन खिलाड़ियों की उपलब्धियां ही ऐसी हैं जिन तक बड़े से बड़े खिलाड़ी भी नहीं पहुंच पाते हैं. लेकिन एक खिलाड़ी ऐसा भी है जिसने एक ऐसा रिकॉर्ड बनाया है जो सचिन और विराट भी नहीं बना पाए.
नई दिल्ली:
सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) और विराट कोहली (Virat Kohli) को दुनिया के महानतम खिलाड़ियों में यूंही शुमार नहीं किया जाता. बल्कि इन खिलाड़ियों की उपलब्धियां ही ऐसी हैं जिन तक बड़े से बड़े खिलाड़ी भी नहीं पहुंच पाते हैं. लेकिन एक खिलाड़ी ऐसा भी है जिसने एक ऐसा रिकॉर्ड बनाया है जो सचिन और विराट भी नहीं बना पाए. दरअसल इंग्लैंड के खिलाड़ी हैरी ब्रुक (Harry Brook) टेस्ट क्रिकेट की पहली 9 पारियों में सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज़ बन गए हैं और वर्ल्ड रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया है. देखा जाए तो इस समय ब्रुक अपनी बल्लेबाज़ी से विश्व क्रिकेट का ध्यान अपनी ओर खींच रहे हैं.
इंग्लैड और न्यूज़ीलैंड के बीच खेली जा रही टेस्ट श्रृंखला में हैरी ब्रुक का जलवा जारी है. टेस्ट क्रिकेट की पहली 9 पारियों 807 रन बनाकर ब्रुक ने ऐसा रिकॉर्ड बनाया है जिसे सचिन और विराट भी नहीं बना पाए. ऐसा कर उन्होंने पूर्व भारतीय क्रिकेटर विनोद कांबली को पीछे छोड़ दिया है. जिनके नाम टेस्ट क्रिकेट की पहली 9 पारियों में सर्वाधिक रन बनाने का रिकॉर्ड दर्ज था.
1. हैरी ब्रुक -807 रन
2. विनोद कांबली -798 रन
3. हर्बर्ट सटक्लिफ – 780
4. सुनील गावस्कर – 778
5. एवर्टन वीक्स -777
कांबली को छोड़ा पीछे
भारत के लिए टेस्ट क्रिकेट खेल चुके और सचिन तेंदुलकर के अच्छे दोस्त कहे जाने वाले विनोद कांबली के नाम ये विश्व रिकॉर्ड दर्ज था. कांबली ने टेस्ट क्रिकेट की पहली 9 पारियों में 798 रन बनाए थे. जिसमें उन्होंने 2 दोहरे शतक और 2 ही शतक लगाए थे. इंग्लैंड और न्यूज़ीलैंड के बीच खेले जा रहे वेलिंग्टन टेस्ट में हैरी ने 184 रन की पारी खेली. उनके टेस्ट करियर की भी ये सबसे बेहतरीन पारी रही. इस दौरान स्टार इंग्लिश क्रिकेटर का औसत भी 100.88 का रहा.
हैरी ब्रुक अब तक 9 टेस्ट पारियों में 4 शतक और 3 शतक लगा चुके हैं. यहां तक कि पिछले 5 टेस्ट मैचों में ये उनका चौथा शतक है. जून में ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के बीच एशेज सीरीज़ खेली जानी है. ऐसे में भारत दौर पर 2 टेस्ट मैच हार चुकी कंगारू टीम के लिए भी ब्रुक खतरे की घंटी बन सकते हैं.