छत्तीसगढ़ में मौसमी बारिश की शुरुआत के साथ दक्षिण-पश्चिम मॉनसून पूरे देश में पहुंच गया है। ओडिशा में बने निम्न दाब से 3 जुलाई को प्रदेश के कुछ स्थानों पर गरज-चमक के साथ भारी बारिश की संभावना है।

छत्तीसगढ़ में मौसमी बारिश की शुरुआत के साथ दक्षिण-पश्चिम मॉनसून पूरे देश में पहुंच गया है। मौसम विभाग ने शनिवार को यह जानकारी दी। 8 जुलाई की सामान्य तिथि से 6 दिन पहले 2 जुलाई को दक्षिण-पश्चिम मॉनसून पूरे देश में दस्तक दे चुका है। 1 जून की सामान्य तिथि से 3 दिन पहले 29 मई को दक्षिण-पश्चिम मानसून केरल पहुंचा था। छत्तीसगढ़ में मॉनसून ने दुर्ग जिले के रास्ते 15 जून को प्रवेश किया था। मौसम विभाग के मुताबिक आने वाले दिनों में मानसून रफ्तार पकड़ेगा। 3 जुलाई को छत्तीसगढ़ के कुछ स्थानों पर गरज-चमक के साथ भारी बारिश की संभावना है।

मौसम विज्ञानी एचपी चंद्रा ने बताया कि शनिवार को देश के सभी हिस्सों में मानसून पहुंच गया है। मानसून द्रोणिका बीकानेर, अलवर, हरदोई, डाल्टनगंज, शांति निकेतन और उसके बाद पूर्व की ओर उत्तर-पूर्व बंगाल की खाड़ी तक 0.9 किलोमीटर ऊंचाई तक विस्तारित है। एक चक्रीय चक्रवाती घेरा बांग्लादेश और उसके आसपास 7.6 किलोमीटर ऊंचाई तक विस्तारित है। इसके प्रभाव से अगले 48 घंटे में उत्तर ओडिशा और उसके आसपास एक निम्न दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है। छत्तीसगढ़ में 3 जुलाई को अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने और गरज चमक के साथ छीटें पड़ने की संभावना है। प्रदेश में गरज-चमक के साथ एक-दो स्थानों पर वज्रपात होने तथा भारी वर्षा होने की संभावना है।

आने वाले दिनों में मॉनसून पकड़ेगा रफ्तार 
छत्तीसगढ़ में खेती के लिए अभी पर्याप्त बारिश नहीं हुई है। अच्छी बारिश नहीं होने से किसान चिंतित जरूर है। खेतों की जोताई, बीज बोआई और धान की नर्सरी बनाने का काम शुरू हो गया है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक आने वाले दिनों में मॉनसून रफ्तार पकड़ेगा। जुलाई में अच्छी बारिश की उम्मीद है। इधर हल्की से मध्यम बारिश होने से तापमान में गिरावट आई है। महासमुंद में अधिकतम तापमान 35.3 डिग्री, रायपुर व दंतेवाड़ा में 33.8 डिग्री, धमतरी में 33.6 और कोरबा में 33.6 डिग्री दर्ज किया है। बस्तर में सबसे कम 25.5 डिग्री अधिकतम तापमान दर्ज किया गया।

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