तीसरी लहर की तैयारियों के मद्ददेनजर राज्य के पांच जिलों में वायरोलाजी लैब जल्द तैयार हो जाएगा। इसमें जशपुर, दंतेवाड़ा, दुर्ग, जांजगीर चांपा और बलौदाबाजार में काम तेजी से चल रहा है। । रायपुर मेडिकल कालेज ने इसके लिए प्रस्ताव भेजा है।
कालेज प्रबंधन की तरफ से कहा गया है कि लैब के लिए पर्याप्त विशेषज्ञ और मैनपावर है। शासन की स्वीकृति मिलते ही इसका काम शुरू हो जाएगा। बता दें कि राज्य में एम्स के अलावा जीनोम सीक्वेसिंग लैब और कहीं नहीं है। ऐसे में वायरस के बदलते स्वरूपों को जानने शोध कार्य नहीं कर पा रहे। कोरोना वायरस में समय-समय पर बदलाव हो रहा है। सरकार भी इन चीज़ो को लेकर काफी गंभीर होचुकी है
ऐसे में वायरस के बदलाव को पता लगाने के लिए जीनोम सीक्वेसिंग तकनीक की आवश्यकता है। ताकि तीसरी लहर से निपटने के साथ किसी भी तरह के वायरस के बदलाव का पता लगाकर बेहतर चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध कराई जा सके।
तीसरी लहर को देखते हुए पांच जिलों में वायरोलाजी लैब जल्द तैयार हो जाएगी जिसका काम तेज़ी से चालू करदिया गया है ! वर्तमान में 11 शासकीय और छह प्राइवेट लैब संचालित हैं। कोरोना को लेकर अधिक टेस्टिंग पर जोर दिया जा रहा है। वहीं कांटेक्ट ट्रेसिंग भी लगातार जारी है। मेडिकल कालेज में जीनोम सीक्वेसिंग को लेकर राज्य को प्रस्ताव भेज दिया है। जल्द इसकी स्वीकृति मिलने की उम्मीद है। आने वाली तैयारियों को देखते हुए यह बेहद आवश्यक है।